छत्तीसगढ़ के पूर्व मुख्यमंत्री भूपे बघेल की मानसिक स्थिति ख़राब, इलाज जारी, चाचा सांसद विजय बघेल ने कहा- कुर्सी जाने के बाद अजीबों-गरीब हरकत कर रहे पूर्व मुख्यमंत्री……

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दुर्ग/रायपुर: छत्तीसगढ़ के पूर्व मुख्यमंत्री भूपे बघेल वाकई मानसिक रूप से बीमार चल रहे है, उनका इलाज जारी है, वे रोजाना सुबह से लेकर शाम तक कई दवाएं खाते है, बावजूद इसके उनकी स्थिति सुधरने की बजाय बिगड़ रही है, यह दावा हम नहीं कर रहे, बल्कि बघेल के चाचा और दुर्ग से सांसद विजय बघेल ने हेल्थ बुलेटिन की तर्ज पर चौकाने वाला खुलासा किया है। दुर्ग में एक स्थानीय पत्रकार से रूबरू होते हुए सांसद विजय बघेल ने बताया कि मुख्यमंत्री की कुर्सी से उतरने के बाद भूपे की मानसिक स्थिति दिनों – दिन ख़राब हो रही है, उनके मुताबिक यह आम समस्या उन राजनेताओं को झेलनी पड़ती है, जो संवैधानिक कुर्सी में बैठकर अपने दिलों-दीमाग में घमंड और गुरुर पाल लेते है। सांसद विजय बघेल ने कहा कि पूर्व मुख्यमंत्री भूपे बघेल तो बहुत सारे, क्या होता है कि जब पद पर रहे है, तो पद का गुरुर इतना बढ़ जाता है कि पद जाते ही थोड़ी मानसिक स्थिति बिगड़ने लगती है, ये स्थिति उनकी है। दरअसल, भिलाई डीपीएस मामले में स्कूल प्रबंधन के खिलाफ अज्ञात में मामला दर्ज होने पर सांसद बघेल अपनी प्रतिक्रिया जाहिर कर रहे थे।

उन्होंने कहा कि इस मामले में पूर्व मुख्यमंत्री का रवैया गैर-जिम्मेदाराना रहा है। सांसद बघेल ने कहा कि घटना संज्ञान में आने के बाद पीड़ित परिवार के साथ-साथ दुर्ग रेंज के वरिष्ठ अधिकारियों से उन्होंने लंबी चर्चा की थी। बघेल के मुताबिक वे पूरे विवाद पर निगाह बनाये हुए थे। चूँकि दिल्ली में वे व्यस्त होने के चलते अपनी प्रतिक्रिया समय पर जाहिर नहीं कर पाए। लेकिन एसपी और आईजी से निष्पक्ष कार्यवाही के लगातार निर्देश देते रहे। उन्होंने हैरानी जताई कि घटना के काफी अधिक समय बीत जाने के बाद अब पुलिस ने FIR दर्ज की है। उन्होंने कहा कि वे अधिकारियों से सवाल करेंगे कि पहले नहीं तो अब क्यों दर्ज की गई FIR..? विजय बघेल छत्तीसगढ़ के दुर्ग लोक सभा क्षेत्र का संसद में प्रतिनिधित्व करते है। सदन से लेकर बाहर तक वे अपने तर्कों से राजनैतिक गलियारा गरमा देते है।

फ़िलहाल इस मामले में पूर्व मुख्यमंत्री भूपे बघेल की ओर से कोई प्रतिक्रिया नहीं मिल पाई है। उनका हालचाल और स्वास्थ्य के बारे में जानकारी लेने के लिए न्यूज़ टुडे छत्तीसगढ़ ने उनके ठिकानों पर संपर्क किया था, लेकिन कोई प्रतिक्रिया प्राप्त नहीं हो पाई। मुख्यमंत्री आवास में तैनात तत्कालीन मेडिकल ऑफिसर से भी न्यूज़ टुडे छत्तीसगढ़ ने संपर्क किया था, उन्होंने बताया कि प्रोटोकॉल के तहत वे पूर्व मुख्यमंत्री के स्वास्थ्य की देखभाल और इलाज किया करते थे, लेकिन बघेल के सरकार गवाने के बाद उनका पूर्व मुख्यमंत्री से संपर्क टूट गया है। हालांकि उन्होंने यह जरूर बताया कि ढलती उम्र में इस तरह की समस्याओं का आना स्वाभाविक है, बघेल 60 पार कर चुके है, मान्यता है कि इस उम्र में कई लोग सठियाँ भी जाते है।

बहरहाल पूर्व मुख्यमंत्री के स्वास्थ्य को लेकर उनके चाचा का बयान राजनैतिक हलकों में चर्चा का विषय बना हुआ है। खबर तो यह भी आ रही है कि सीबीआई, EOW, ED, बिट्टू की करतूते, सौम्या के बच्चों के जेनेटिक माँ-बाप के खुलासे को लेकर पूर्व मुख्यमंत्री तनाव में है। नई समस्या बिट्टू की उस कवायत को लेकर खड़ी हो गई है, जिसमे भाड़े के हमलावरों ने एक कॉलेज के प्रोफ़ेसर पर जानलेवा हमला किया था।

ऑनर किलिंग के इस मामले ने पीड़ित की जान तो बच गई, लेकिन साजिशों के तार पूर्व मुख्यमंत्री के घर, ठिकाने और उनके बैडरूम तक से जुड़े पाए गए थे। बताते है कि बघेल राज में बाप-बेटे की बोल रही तूती अब बीजेपी शासन में अपराधों के तकाज़े में तौली जा रही है। पद के दुरुपयोग घोटालों में पुलिस के शिकंजे में फंसने के बाद, बाप-बेटे की जोड़ी फिर चर्चा में है।