किशोर साहू /
बालोद / छत्तीसगढ़ के बालोद जिले में सरकारी सिस्टम की ऐसी लापरवाही सामने आई, जहाँ एक 76 वर्षीय बुजुर्ग महिला को जीते जी सरकारी दस्तावेज में मृत घोषित कर दिया गया | जिसके चलते बुजुर्ग महिला को जीवन के अंतिम पड़ाव में पिछले दो माह से ना पेंशन मिल रहा और ना ही सरकारी राशन कार्ड से राशन | बुजुर्ग महिला की उम्र अधिक होने से वह चलफिर नहीं पाती है , दुसरे के सहारे सरकारी ऑफिस के चक्कर लगाकर अपनी जीवित होने का प्रमाण देती फिर रही है , लेकिन उसकी फरियादों को अनसुना किया जा रहा है |
दरअसल छत्तीसगढ़ में सत्ता परिवर्तन के बाद सरकार बदलते ही नई सरकार द्वारा राशनकार्ड सत्यापन का कार्य कराया गया | जिसके तहत बालोद जिले के दल्ली राजहरा नगरपालिका अंतर्गत सभी वार्डो में हितग्राहियों का राशनकार्ड सत्यापन किया गया | इसी दौरान सत्यापन दल द्वारा वार्ड नम्बर 20 निवासी बुजुर्ग बुधियारिन बाई मृत दर्ज कर दी गई | जिसके चलते पिछले दो माह से सरकार की खाद्यान योजना से मिलने वाली राशन व वृद्धा पेंशन से वंचित हो गई | अब बुजुर्ग महिला अपनी बेटी व दामाद की मदद से रिक्सा व मोटरसाईकिल में सवार होकर स्वयं सरकारी दस्तावेज के साथ अपनी जीवित होने का प्रमाण देने सरकारी ऑफिस का चक्कर लगा रही | पर जिम्मेदार है की आँख में पट्टी बांधे बैठे है | मामले में जब जिले की कलेक्टर रानू साहू से बात की गई तो कलेक्टर ने मामले को गंभीर लापरवाही की बात कहते हुए सत्यापन दल के सभी लोगों को शोकाश नोटिस जारी करने व खाद्य विभाग को तत्काल पुनः सत्यापन कर एडिट कराने की निर्देश करने की बात कही !
कहने को तो बुधियारिन बाई के पास वोटरआईडी, आधारकार्ड, राशनकार्ड, पेंशनबुक सहित तमाम सरकारी दस्तावेज है, जो बतलाने के लिए काफी की बुधियारिन वार्ड नम्बर 20 की निवासी है और काफी समय से यहाँ निवास करती है | बावजूद इसके बुजुर्ग महिला को केंद्र सरकार की उज्ज्वल योजना के तहत ना गैस का कनेक्शन मिला, ना ही आज तक प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत पक्का मकान का लाभ | मजबूरन छोपड़ी नुमा मिट्टी व खपरैल की जर्जर मकान में रहने को मजबूर है…मामले में कलेक्टर से सवाल किया गया तो कलेक्टर ने नगर पालिका दल्ली राजहरा के सीएमओ से बात कर मामले को दिखवाने की बात कही गई !