खुले में योग करने पर लगा प्रतिबंध, इसी महीने लगना था योग शिविर,कट्टरपंथी लगातार कर रहे थे विरोध…

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नई दिल्ली:- योग को लेकर कुवैत में कोहराम मचा हुआ है. मौलवियों के बढ़ते विरोध को देखते हुए सरकार ने खुले में योग करने पर प्रतिबंध लगा दिया है. मौलवियों को पद्मसान और श्वानासन की योग मुद्रा पर आपत्ति है. उन्होंने इसे इस्‍लाम के लिए खतरनाक करार दिया है. वहीं, महिलाएं सार्वजनिक जगहों पर योग की अनुमति चाहती हैं. ये सारा विवाद एक योग शिविर से जुड़ा है, जहां योग सिखाने वाले टीचर ने रेगिस्तान में वेलनेस योगा रिट्रीट का विज्ञापन दिया था.

जानकारी के मुताबिक़ विज्ञापन के बाद मौलवी और कट्टरपंथी योग के खिलाफ मैदान में उतर आए. इन लोगों ने सार्वजनिक जगहों पर पद्मसान और श्वानासन की योग मुद्रा को इस्‍लाम के लिए खतरनाक बताया है. विवाद बढ़ता देख इस योग शिविर को फिलहाल बैन कर दिया गया है. वहीं, पुरुषों के वर्चस्व वाले इस देश में योग बैन करने के खिलाफ अब महिलाएं भी एकजुट हो गई हैं. महिलाओं के लिए योग महिला अधिकारों की लड़ाई का एक प्रतीक बन गया है. 

रूढ़िवादियों का कहना है कि सार्वजनिक जगहों पर महिलाओं का योग करना, देश के पारंपरिक मूल्यों पर हमला करने जैसा है. इन लोगों के निशाने पर सरकार भी है. इनका कहना है कि सरकार इस मुद्दे को सही से संभाल नहीं कर रही है. कुवैत में महिला अधिकारों के लिए काम करने वालीं नजीबा हयात ने योग के विरोध पर नाराजगी जताई है. उनका कहना है कि कट्टरपंथियों के ऐसे रवैये से कुवैत तेजी से पीछे जा रहा है. वे अन्‍य महिलाओं के साथ कुवैत की संसद के बाहर प्रदर्शन भी कर चुकी हैं.