जम्मू. अमरनाथ यात्रा से लौट रही एक बस का ब्रेक फेल होने से उसमें सवार 44 यात्रियों की जान खतरे में पड़ गई. मगर सेना ने तत्काल कार्रवाई करके सभी सवारों की जान बचाने में कामयाबी हासिल कर ली. भारतीय सेना और जम्मू-कश्मीर पुलिस ने मंगलवार को रामबन जिले में राष्ट्रीय राजमार्ग 44 पर अमरनाथ यात्रा के तीर्थयात्रियों को ले जा रही एक बस के नियंत्रण खो जाने के बाद एक बड़ी दुर्घटना को टाल दिया. अमरनाथ से होशियारपुर जा रही बस के कथित तौर पर ब्रेक फेल हो गए थे. तीर्थयात्री पंजाब के थे.
सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर सामने आए एक वीडियो में, कई तीर्थयात्रियों को चलती बस से कूदते हुए देखा जा सकता है. हालांकि, सुरक्षा बलों की त्वरित प्रतिक्रिया ने बस को खाई में गिरने से बचा लिया. अधिकारियों ने कहा कि इस घटना में किसी की मौत की खबर नहीं है. अधिकारियों ने कहा कि बस में 40 तीर्थयात्री सवार थे जो पंजाब के होशियारपुर लौट रहे थे. उन्होंने कहा कि बनिहाल के पास नचलाना पहुंचने पर ब्रेक फेल होने के कारण चालक वाहन को रोकने में विफल रहा. इस घटना में दस लोग घायल हो गए, जिनमें छह पुरुष, तीन महिलाएं और एक बच्चा शामिल हैं.
अधिकारियों के हवाले से बताया गया कि तीर्थयात्रियों को चलती गाड़ी से कूदते देख सेना और पुलिस कर्मियों ने तुरंत कार्रवाई की और बस के टायरों के नीचे पत्थर रखकर बस को नदी में गिरने से रोक लिया. अधिकारियों ने बताया कि सेना की त्वरित प्रतिक्रिया टीम, एम्बुलेंस के साथ घटनास्थल पर पहुंची और सभी घायलों को चिकित्सा सहायता और प्राथमिक उपचार प्रदान किया. घटना के भयावह दृश्यों में लोगों को बस से कूदते हुए दिखाया गया, जबकि सुरक्षा बल वाहन को खाई में गिरने से रोकने के प्रयास में उसके पीछे भाग रहे थे.
गौरतलब है कि मई में, जम्मू के अखनूर में एक बस के खाई में गिर जाने से 22 लोगों की मौत हो गई थी और कम से कम 50 लोग घायल हो गए थे. उत्तर प्रदेश और हरियाणा के तीर्थयात्रियों को लेकर जा रही बस में क्षमता से अधिक यात्री सवार थे और उसमें 80 से अधिक यात्री सवार थे. अधिकारियों ने बताया कि बस रायसी जिले में प्रसिद्ध शिव खोरी मंदिर जा रही थी, तभी जम्मू-पुंछ राजमार्ग पर बस फिसलकर खाई में गिर गई थी.