छत्तीसगढ़ के पूर्व मुख्यमंत्री के गले पड़ी सौम्या ? जेल परिसर में बुलाई प्रेस कॉन्फ्रेंस, आज रिहाई के आसार, दो जुड़वा बच्चों को लेकर दाखिल होगी भिलाई आवास में, चर्चा में भूपे का डबल इंजन….   

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रायपुर: छत्तीसगढ़ में आज बड़े बवाल के आसार जाहिर किये जा रहे है। दरअसल, आज विभिन्न घोटालों में जेल की हवा खा रहे चर्चित अधिकारियों की रिहाई हो सकती है ? रायपुर सेंट्रल जेल से लेकर जिला अदालत के गलियारे में अभियुक्तों की रिहाई प्रक्रिया और दस्तावेजों के आदान-प्रदान को लेकर कवायतें जोरो पर बताई जा रही है। इसके साथ ही पूर्व मुख्यमंत्री बघेल की तत्कालीन उपसचिव सौम्या चौरसिया द्वारा बुलाई गई एक प्रेस कॉन्फ्रेंस को लेकर भी राजनैतिक गलियारा गरमाया हुआ है।

पूर्व मुख्यमंत्री की उपसचिव सौम्या ने रायपुर सेंट्रल जेल परिसर में ही आज पत्रकारों से मिलने की इच्छा जाहिर की है। उनकी इस प्रेस कॉन्फ्रेंस को किसी बड़े खुलासे से जोड़ कर देखा जा रहा है। सौम्या चौरसिया के आज किसी भी वक़्त रिहाई के आसार जाहिर किये जा रहे है। माना जा रहा है कि समय पर दस्तावेज जमा हो जाने पर सुप्रीम कोर्ट से जमानत प्राप्त अभियुक्तों की रिहाई दोपहर में 12 बजे से पहले अथवा शाम 3 बजे के बाद कभी भी हो सकती है। लिहाजा, सौम्या की ओर से बुलाई गई प्रेस कॉन्फ्रेंस के लिए कई पत्रकारों को समय पर पहुंचने के लिए संपर्क भी किया जा रहा है। 

सूत्र तस्दीक करते है कि रिहाई के बाद जेल परिसर में ही किसी निर्दिष्ट स्थान पर सौम्या पत्रकारों से रूबरू होंगी। इस प्रेस कॉन्फ्रेंस की तैयारी भी जोरो पर बताई जा रही है। यह भी कहा जा रहा है कि दो जुड़वा बच्चों के जन्म के रहस्यों पर से आज ही पर्दा हट सकता है। कहा तो ये भी जा रहा है कि रायपुर सेंट्रल जेल के दरवाजे से शुरू होकर सौम्या की राह पूर्व मुख्यमंत्री के भिलाई स्थित आवास पर ही ख़त्म होगी। इस बीच भिलाई के सूर्या अपार्टमेंट में भी सरगर्मियां तेज बताई जा रही है। इस बवाल को थामने के राजनैतिक प्रयास भी जोरो पर बताये जा रहे है। 

सुप्रीम कोर्ट से जमानत के बाद 2010 बैच के IAS समीर विश्नोई और 2010 बैच की आईएएस रानू साहू के अलावा  2008 बैच की CGPSC चयनित डिप्टी कलेक्टर सौम्या चौरसिया की आज रायपुर सेंट्रल जेल से रिहाई के आसार जाहिर किये जा रहे है। इसे लेकर राजनैतिक और प्रशासनिक गतिविधियां जोरो पर बताई जा रही है। प्रदेश के विभिन्न बड़े घोटालों में नामजद ये तमाम अधिकारी लगभग दो सालों से जेल की हवा खा रहे थे। सुप्रीम कोर्ट से जमानत स्वीकृत होने के बाद इन अभियुक्तों के ठिकाने कों लेकर गहमा-गहमी देखी जा रही है। दरअसल, सुप्रीम कोर्ट ने दो दिन पहले सशर्त जमानत स्वीकार करते हुए कुल 6 आरोपियों को छत्तीसगढ़ से बाहर का रास्ता दिखा दिया है। शीर्ष कोर्ट ने इनकी रिहाई का आदेश देते हुए कहा है कि वे साक्ष्यों को प्रभावित न कर सकें, इसके लिए जमानत के बाद सभी अभियुक्तों को प्रदेश से बाहर रहना होगा।

जेल से रिहा होकर तमाम अभियुक्त किस ओर रुख करेंगे ? उनके रैन-बसेरे को लेकर जारी मंथन के बीच खबर आ रही है कि पूर्व मुख्यमंत्री की निलंबित उपसचिव ने अपनी राह तय कर ली है, उनके कदम जेल से सीधे पूर्व मुख्यमंत्री के आवास तले ही थमेंगे। उधर तड़की-भड़की अभियुक्त का गुस्सा ठंडा करने को लेकर कई नुस्खे आजमाए जाने की खबर भी सामने आ रही है। जानकारी के मुताबिक छत्तीसगढ़ में 700 करोड़ के कोल लेवी घोटाले, 2200 करोड़ के शराब और 500 करोड़ से ज्यादा के डीएमएफ घोटाले की जांच ईडी और प्रदेश के एसीबी/ईओडब्लू के हवाले है।

एजेंसियां अपनी कार्यवाही में जुटी है, इस बीच रायगढ़ की तत्कालीन कलेक्टर रानू साहू, खनिज विभाग के सचिव समीर विश्नोई और पूर्व मुख्यमंत्री की उपसचिव सौम्या चौरसिया, कारोबारी रजनीकांत तिवारी, वीरेंद्र जायसवाल और संदीप नायक की आज किसी भी समय जेल से रिहाई सुनिश्चित मानी जा रही है। कानून के जानकारों के मुताबिक सुप्रीम कोर्ट ने तमाम आरोपियों के समस्त प्रकरणों को कंपाइल कर सशर्त जमानत के आदेश दिए थे। जमानत पर रिहा होने के बाद सभी अभियुक्तों को छत्तीसगढ़ से बाहर जाना होगा। आमतौर पर गुंडा-मवालियों के खिलाफ जिला बदर जैसी सख्त कार्यवाही देखी जाती है। लेकिन सुप्रीम कोर्ट ने सशर्त जमानत देते हुए साफतौर पर कहा है कि जमानत पर रिहाई के बाद अभियुक्त गण गवाहों को प्रभावित करने की कोशिश नहीं करेंगे।

कोर्ट ने छत्तीसगढ़ सरकार को निर्देशित किया है कि जमानत अवधि के बीच अगर पुख्ता सबूत मिलता है कि आरोपी जांच को प्रभावित करने की कोशिश कर रहे हैं, तो जमानत रद्द करने के लिए सरकार, अदालत का दरवाजा खटखटा सकती है। सुप्रीम कोर्ट ने हिदायत देते हुए अभियुक्तों को भी जांच एजेंसियों को सहयोग करने के लिए निर्देशित किया है, तमाम अभियुक्तों के खिलाफ कई और घोटालों की जांच जारी है। ऐसे में उनकी रिहाई और सरकार के रुख को लेकर कयासों का दौर जारी है। 

लोगों की निगाहे अभियुक्त सौम्या के क़दमों पर टिकी है, रिहाई के बाद उनके कदम जेल परिसर से भिलाई में किस मार्ग और ठिकाने की ओर रुख करेंगे ? यह देखना गौरतलब होगा।उधर तमाम अभियुक्तों की रिहाई को लेकर पूर्व मुख्यमंत्री और उनके खेमे की ओर से कोई प्रतिक्रिया नहीं मिल पाई है। प्रदेश के चर्चित अभियुक्तों की रिहाई के ‘समय’-‘पहर’ और सौम्या की प्रेस कॉन्फ्रेंस को लेकर जेल प्रशासन की ओर से भी कोई आधिकारिक प्रतिक्रिया सामने नहीं आई है। फ़िलहाल, रायपुर सेंट्रल जेल परिसर में अभियुक्तों के परिजनों के साथ-साथ पूर्व मुख्यमंत्रियों के करीबियों और पत्रकारों का जुटना शुरू हो गया है।