कोरबा/रायगढ़/रायपुर। छत्तीसगढ़ में राहुल गांधी की भारत जोड़ो यात्रा पूरी तरह से फ्लॉप होने का ठीकरा पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल पर फूटा है. इस यात्रा में भीड़ ना जुटने के साथ-साथ
आम कार्यकर्ताओं के द्वारा भी रुचि ना लेने से कांग्रेस आलाकमान नाराज बताया जा रहा है. बताते हैं कि प्रदेश कांग्रेस प्रभारी सचिन पायलट ने इस मामले में कड़ी नाराजगी जाहिर करते हुए कांग्रेस पदाधिकारियों को फटकार भी लगाई है. पायलट ने सख्त नाराजगी जाहिर करते हुए नेताओं से यह तक कह डाला है कि यात्रा की समाप्ति के बाद संगठन में बड़ा फेरबदल होगा.
अब उन दागदार छवि के लोगों को पार्टी से बाहर का रास्ता दिखाया जायेगा,जिनके चलते छत्तीसगढ़ में कांग्रेस को सत्ता से बाहर होना पड़ा है,जिनके चलते राहुल गांधी एवम पार्टी आलाकमान को शर्मिंदगी झेलनी पड़ी है. बताया जाता है कि पार्टी से नाराजगी का कारण इस यात्रा में आम जनता के साथ- साथ पार्टी कार्यकर्ताओं का रुचि ना लेना भी महत्वपूर्ण कारण है .भीड़ ना जुटने से राहुल गांधी की भारत जोड़ो यात्रा छत्तीसगढ में फ्लॉप साबित हुईं हैं। इस यात्रा के बारे में आम लोगों को भी नही पता पड़ा की राहुल गांधी कब आए और कब चले गए।
बताया जाता है कि यात्रा के उड़ीसा से छत्तीसगढ़ में पहुंचने पर बमुश्किल ५00 लोग ही जुटे थे. यही हालत रायगढ़ और कोरबा में भी दिखाई दी थी. यहां भी १000-१५00 लोग ही पहुंचे थे. जबकि यात्रा की जवाबदारी पूर्व मंत्री उमेश पटेल के कंधों पर डाली गई थी.यात्रा में भीड़ जुटाने के लिए कार्यकर्ताओं को कड़ी मशक्कत करनी पड़ी थी. कांग्रेसी सूत्र बताते हैं कि पूर्व मुख्यमंत्री बघेल के भ्रष्टाचारों से राज्य की जनता अभी तक बिफरी हुई है, पैसा देने के बाद भी मजदूर और जरूरतमंद लोग यात्रा में सहभागी बनने को तैयार नही थे.
बताते हैं कि पूर्व मुख्यमंत्री बघेल का नाम सुनते ही ग्रामीण भड़क उठते थे.उनके मुताबिक कार्यकर्ताओं ने कड़ी मेहनत कर जितने लोगों को जुटाया था वही भीड़ का सर्वाधिक आंकड़ा साबित हुआ है. सूत्र यह भी बता रहे हैं कि भीड़ ना जुटने के कारणों का पता चलते ही भू-पे को आड़े हाथों लिया गया था. नाराज राहुल गांधी ने भू-पे से मिलने तक में कोई दिलचस्पी नही दिखाई थी. कांग्रेस सरकार में बे-लगाम भ्रष्टाचार को लेकर यात्रा में शामिल कई नेता भी भू-पे पर बिफरे हुए नजर आए थे।
छत्तीसगढ़ में भारत जोड़ो यात्रा की नाकामी का ठीकरा भू-पे पर फोड़ा जा रहा है. बताया जा रहा है कि पार्टी कोषाध्यक्ष रामगोपाल अग्रवाल के फरार होने से भी यात्रा पर असर पड़ा है. उनके द्वारा धन की कोई व्यवस्था करके नही जाने से खर्चों में कटौती की गई थी.कार्यकर्ताओं के मुताबिक रामगोपाल ने चुनाव के बाद से कोई हिसाब-किताब नही दिया है, बताते हैं कि कांग्रेस सरकार के रवैय्ये के चलते पार्टी को फंड की कमी का सामना करना पड़ रहा है.
कांग्रेस सरकार के रवैय्ये के चलते इस बार कारोबारियो और उद्योगपतियों ने भी आर्थिक सहायता करने में अपने हाथ पीछे खींच लिए हैं. फिलहाल भारत जोड़ो यात्रा के फ्लॉप होने का मामला कांग्रेस के भीतर की राजनीति में गर्माया हुआ है।भ्रष्टाचार के मामले में भूपेश बघेल और उनका खेमा पार्टी में अलग थलग पड़ गया है।