अहमदाबाद / मुंबई वेब डेस्क – पश्चिम बंगाल और ओडिशा में हाल ही में आए चक्रवाती तूफान अम्फान के तबाही के निशान अभी ख़त्म नहीं हुए कि देश में एक और चक्रवाती तूफान ने दस्तक दे दी है। यह तूफान अरब सागर में बन रहा है। भारतीय मौसम विभाग ने महाराष्ट्र और गुजरात के तटीय इलाकों में ‘निसारगा’ नाम के चक्रवात के मद्देनजर रेड अलर्ट जारी किया है। इसका असर भी दिखना शुरू हो गया है और गुजरात के भावनगर में तेज बारिश हुई है। केरल में मानसून के टकराने के बाद निसारगा के आने से प्रभावितों पर दोहरी मार की आशंका बढ़ गई है |
हालाँकि राहत और बचाव दल मौके पर डट गया है | केंद्र सरकार हालात पर निगाह रखे हुए है | भारतीय मौसम विभाग ने केरल के ऊपर दक्षिण पश्चिम मानसून 2020 की शुरुआत की घोषणा की। दक्षिण-पश्चिम मॉनसून आज 1 जून को केरल में पहुंच गया है। यह सामान्य तिथि के साथ यहां पहुंचा है। आईएमडी ने बताया है कि कम दबाव वाला क्षेत्र सोमवार को और कम हो गया। इस चक्रवाती तूफान के तीन जून की शाम या रात के दौरान उत्तरी महाराष्ट्र और दक्षिण गुजरात तट से टकराने की उम्मीद है। इसके टकराने के साथ ही महाराष्ट्र और गुजरात के तटीय इलाकों में भारी बारिश संभावना है।
आईएमडी ने एक जून के लिए केरल, कर्नाटक के तटीय इलाकों, गोवा और महाराष्ट्र के तटीय इलाकों के लिए ऑरेंज अलर्ट जारी किया है। आईएमडी ने बताया कि अरब सागर और लक्ष्यद्वीप के बीच बना कम दबाव का क्षेत्र चक्रवाती तूफान में तेजी ला सकता है। जानकार अंदेशा जाहिर कर रहे है कि तूफान की रफ़्तार 120 से 130 KM प्रति घंटा हो सकती है | आईएमडी ने चेतावनी देते हुए कहा कि चक्रवात के दक्षिण पूर्वी और आसपास के पूर्वी मध्य अरब सागर तथा लक्षद्वीप क्षेत्र के ऊपर कम दबाव के रूप में मजबूत होने की संभावना है |
इसके मद्देनज़र जान माल की रक्षा की जाये | उसके मुताबिक फिर यह चक्रवात अगले 24 घंटों में और अधिक मजबूत होकर चक्रवाती तूफान में बदल जाएगा। इस चक्रवाती तूफान के तीन जून की शाम या रात के दौरान उत्तरी महाराष्ट्र और दक्षिण गुजरात तट से टकराने का अंदेशा है। आईएमडी ने चार जून तक एहतियातन मछुआरों को समुद्र में नहीं जाने की सलाह दी है। उन्होंने कहा कि जो मछुआरे अभी अरब सागर में गए हैं, वे तुरंत वापस तटों पर लौटें। यही नहीं प्रशासन ने निचली बस्तियों को भी सतर्क किया है |
आईएमडी के अहमदाबाद केंद्र ने उत्तरी और दक्षिणी गुजरात तटों पर सभी बंदरगाहों पर दूरस्थ सूचक चक्रवात चेतावनी संकेत सक्रिय कर देने का परामर्श दिया है क्योंकि समुद्र में चार जून तक स्थिति अत्यंत खराब रहने की संभावना है।
उसके मुताबिक 90 से 100 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से हवाएं चल सकती हैं जिनकी गति 110 किलोमीटर प्रति घंटे तक भी पहुंच सकती है। दूसरी तरफ, राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र एनसीआर में बारिश और तेज हवाओं से तापमान में गिरावट दर्ज की गई है। दिल्ली और उसके आसपास रात में हुई बारिश और तेज हवाओं के चलते मौसम ने करवट बदली है।
उधर पृथ्वी मंत्रालय ने कहा है कि चक्रवाती तूफान दक्षिण-पूर्व और आसपास के पूर्वी मध्य अरब सागर और लक्षद्वीप क्षेत्र में कम दबाव वाला क्षेत्र पूर्व-पूर्वी और आस-पास के दक्षिण-पूर्व अरब सागर पर एक डिप्रेशन में केंद्रित है। सुबह 5.30 बजे चक्रवात का अक्षांश 13.0 °उत्तर और देशांतर 71.4 °पूर्व रहा जो पणजी से लगभग 370 किमी दक्षिण-पश्चिम, मुंबई से 690 किमी दक्षिण-दक्षिण पश्चिम और सूरत से 920 किमी दक्षिण-दक्षिण पश्चिम में स्थित है।
मंत्रालय ने कहा है कि अगले 12 घंटों के दौरान दक्षिण पूर्व अरब सागर और उससे सटे दक्षिण पूर्व में चक्रवात के तेज होने की संभावना है | इसके बाद के 24 घंटों के दौरान पूर्वी मध्य अरब सागर के ऊपर चक्रवाती तूफान और तीव्र हो सकता है।