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इधर ब्याह उधर सरकारी नौकरी , सुबह मंडप में दूल्‍हे को छोड़कर काउंसलिंग में पहुंची दुल्‍हन, शादी का जोड़ा और हाथों में लगी मेहंदी देखकर गदगद हुए  अफसर , नौकरी की ललक और योग्यता देखकर हाथों हाथ दिए ऑर्डर   

गोंडा / शादी के मंडप में आम शादियों की तरह रस्मे चल रही थी | सुबह बिदाई की रस्मों की तैयारी जोरशोर से चल रही थी | इस बीच लगन मंडप में बैठी दुल्‍हन को किसी ने उसके इंटरव्यू के बारे में सूचना दी | दरअसल दुल्हन के मोबाइल पर उसकी किसी सहेली ने आज होने वाले इंटरव्यू में उसका भी नाम शामिल होने की सूचना दी थी | इस मैसेज को पढ़कर दुल्हन ने फौरन अपने कमरे का रुख किया | उसने अपने पति समेत अन्य परिजनों को  इंटरव्यू के बारे में बताया और फौरन मंडप छोड़ निकल गई |  
 

बताया जाता है कि शादी की रस्म के दौरान सुबह 5 बजे जैसे ही दूल्‍हे ने दुल्हन के माथे में सिंदूर भरा, वैसे ही दुल्‍हन ने इंटरव्यू की सूचना अपने पति को दी | फिर मंडप छोड़कर दुल्हन काउंसलिंग सेंटर में चली गई | इस दौरान उसके आते तक दूल्हे समेत बरात उसका इंतजार करते रही | उस समय बाराती और घराती के चेहरे ख़ुशी से खिल उठे जब दुल्हन के मोबाइल पर उसके सिलेक्ट होने का मैसेज आया | मैसेज के साथ ही उसका जॉइनिंग लेटर भी संलग्न था | यह अनोखा वाकया उत्‍तर प्रदेश के गोंडा जिले का है |  

गोंडा के रामनगर के बाराबंकी में प्रज्ञा तिवारी की चट शादी और पट नौकरी का किस्सा लोगों की जुबान में है | उसके मेहंदी रचे हाथों में सफलता की कहानी खुद ब खुद बया हो रही है | इंटरव्यू सेंटर में अपनी शादी की रंगत और हाथों में  डॉक्यूमेंटस संभालती उसकी कई तस्वीरें सोशल मीडिया में वायरल हो रही है | दरअसल शादी के जोड़े में सजी धजी और बालों में मोगरे के फूलों से सजे गजरे को देखकर उसकी सहेलियों ने उसकी खूब तस्वीरें खींची थी | गोंडा के बीएसए ऑफिस में प्रज्ञा की काउंसलिंग भी चर्चा का विषय भी बनी हुई है | दरअसल इंटरव्यू लेने वालों को उसकी शादी और मंडप से सीधे सेंटर आने की खबर जब लगी तो वे भी नौकरी के प्रति उसकी ललक देखकर खुश हुए |   बेसिक शिक्षा अधिकारी ने भी प्रज्ञा को बधाई देते हुए कहा कि यह बड़ी बात है कि कल शादी हुई और आज नौकरी लग गई |  प्रज्ञा, बेसिक शिक्षा विभाग गोंडा में शिक्षक के पद पर नियुक्त हुई हैं | 

प्रज्ञा के चेहरे पर शादी के साथ नौकरी की दोहरी खुशी साफ़ झलक रही थी | प्रज्ञा का कहना है कि उसके लिए करियर ज्यादा मायने रखता है इसलिए अपने दूल्हे को अपने इंतजार में मंडप में छोड़कर वह काउंसलिंग के लिए आई थी | वहां सभी इंतजार कर रहे हैं कि कब दुल्हन बनी प्रज्ञा वापस आए और रस्म होने के बाद अपने ससुराल के लिए पति के साथ विदा हो | 
प्रज्ञा का मानना है कि उसका दूल्हा उसके लिए बहुत लकी चार्मिंग है कि फाइनली उसकी जिंदगी में आने के बाद ही उसको नौकरी मिल गई | प्रज्ञा ने सभी पेरेंट्स से अपील की है कि वह सभी अपने बेटियों को खूब पढ़ाएं ताकि वह सेल्फ डिपेंडेंट हो सके | प्रज्ञा ने अपने इस मुकाम तक पहुंचने का श्रेय अपने मम्मी-पापा को दिया है  | हालांकि घर पहुंचने के चंद पलों बाद ही उसकी बिदाई हो गई | 

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