Maharashtra: महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने परभणी हिंसा मामले की न्यायिक जांच कराने की घोषणा की है। नागपुर में चल रहे महाराष्ट्र विधानसभा के शीतकालीन सत्र में उन्होंने कहा कि आंबेडकर किसी एक जाति के नहीं है। बल्कि वे सभी के हैं। उन्होंने कहा कि संविधान की प्रतिकृति से छेड़छाड़ बर्दाश्त नहीं की जाएगी। विधानसभा में सीएम देवेंद्र फडणवीस ने कहा कि बीड में मसजोग गांव के सरपंच संतोष देशमुख की हत्या के मामले में गिरफ्तार आरोपी पर मकोका लगाया गया है। इसके साथ ही बीड के पुलिस अधीक्षक का तबादला कर दिया गया है।
विधानसभा में शिवसेना (यूबीटी) के विधायक सुनील प्रभु ने कल्याण में एक मराठी परिवार पर हुए हमले का मुद्दा उठाया। विधायक ने आरोपियों के खिलाफ कार्रवाई की मांग की। इसे लेकर डिप्टी सीएम अजित पवार ने कहा कि विधायक की ओर से दी गई जानकारी को जांचा जाएगा। आरोपी कितना भी वरिष्ठ क्यों न हो, कार्रवाई की जाएगी। राज्य में मराठी लोगों का सम्मान बनाए रखा जाएगा। आरोपियों के खिलाफ त्वरित कार्रवाई करेंगे।
10 दिसंबर को परभणी रेलवे स्टेशन के बाहर कुछ उपद्रवी तत्वों ने डॉ. भीमराव अंबेडकर की प्रतिमा के पास संविधान का अपमान किया। इससे लोग नाराज हो गए। आंबेडकर और संविधान का अपमान देख लोग भड़क गए। इसके बाद आंबेडकर के समर्थकों ने बंद का आह्वान किया था, लेकिन भीड़ ने कई दुकानों पर तोड़फोड़ की और वाहनों में आग लगा दी। इससे स्थिति हिंसक हो गई। इस मामले में तीन मामले दर्ज किए और 51 लोगों को गिरफ्तार किया गया था। वहीं परभाणी हिंसा के एक दिन पहले बीड में मसजोग गांव के सरपंच संतोष देशमुख की अपहरण के बाद हत्या कर दी गई थी।