अक्षय तृतीया पर इस मुहूर्त में जलाएं दीया, मां लक्ष्मी दोनों हाथों से बरसाएंगी छप्परफाड़ धन…

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हिंदू कैलेंडर के मुताबिक, इस बार अक्षय तृतीया 30 अप्रैल, बुधवार को मनाई जाएगी. पंचांग के मुताबिक, वैशाख मास के शुक्ल पक्ष की तृतीया तिथि को अक्षय तृतीया मनाई जाती है. अक्षय तृतीया के दिन भगवान विष्णु और माता लक्ष्मी की उपासना की जाती है. ज्योतिष शास्त्र में अक्षय तृतीया का दिन अबूझ मुहूर्त में से एक माना जाता है. इस दिन हर का करना लाभकारी माना गया है. उन सभी कार्यों में से एक दीपक जलाना है. कहते हैं कि अक्षय तृतीया के दिन दीपक जलाने से घर की नराकात्मक ऊर्जा दूर हो जाती है. ऐसे में चलिए जानते हैं कि अक्षय तृतीया पर किस मुहूर्त में दीपक जलाना शुभ रहेगा.

अक्षय तृतीया पर किस समय जलाएं दीया
अक्षय तृतीया के दिन गोधूली बेला में दीपक जलाना बहुत ही शुभ माना जाता है. गोधूलि बेला शाम का समय माना जाता है. 30 अप्रैल को गोधूली बेला का मुहूर्त शाम 6 बजकर 55 मिनट से शुरू होगा. जबकि, इस शुभ मुहूर्त का समापन शाम 7 बजकर 16 मिनट पर होगा. शास्त्रों में गोधूलि बेला में पूजा-पाठ करना और मांगलिक कार्य करना बेहद शुभ माना जाता है. इस बेला को मंगलबेला भी कहते हैं.

अक्षय तृतीया पर ना करें ये काम
सोना खरीदें, पर इन चीजों से बचें- अक्षय तृतीया पर सोना खरीदना शुभ माना जाता है, लेकिन इस दिन भूलकर भी प्लास्टिक, एल्युमिनियम या स्टील के बर्तन या वस्तुएं न खरीदें. मान्यता है कि इन पर राहु का प्रभाव होता है, जिससे घर में नकारात्मकता और दरिद्रता आ सकती है.

उधार देने से बचें- इस दिन किसी को पैसा या धन उधार देना अशुभ माना जाता है. मान्यता है कि इससे घर की लक्ष्मी दूसरे के पास चली जाती है.

सोने का गुम होना अशुभ- अक्षय तृतीया के दिन अगर सोना या स्वर्ण आभूषण खो जाए तो यह धन हानि का संकेत माना जाता है, जो अशुभ होता है.

घर और पूजा स्थल साफ रखें- इस दिन पूजा स्थान, तिजोरी या धन स्थान को गंदा न रखें. साफ-सफाई रखें, क्योंकि गंदे स्थानों पर नकारात्मक ऊर्जा और अलक्ष्मी का वास होता है.

गलत कार्यों से बचें- चोरी, झूठ बोलना, जुआ खेलना जैसे पाप कर्मों से इस दिन विशेष रूप से दूर रहना चाहिए, क्योंकि इनसे अर्जित पाप जीवन भर साथ रहते हैं.

तामसिक भोजन से परहेज करें- अक्षय तृतीया के दिन मांस, मदिरा, लहसुन, प्याज आदि का सेवन न करें. इस दिन सात्विकता बनाए रखना आवश्यक है.

इनका अपमान न करें- अक्षय तृतीया के दिन शंख, कौड़ी, श्रीयंत्र, कुबेर यंत्र, भगवान गणेश और भगवान विष्णु का वाणी या कर्म से अपमान न करें.ये सभी देवी लक्ष्मी को अत्यंत प्रिय हैं.

तुलसी न चढ़ाएं- अक्षय तृतीया के दिन पूजा के समय माता लक्ष्मी को तुलसी के पत्ते अर्पित न करें, क्योंकि यह उन्हें अर्पित नहीं किया जाता है. ऐसा करना अशुभ हो सकता है.

(Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. NEWS TODAY इसकी पुष्टि नहीं करता है.)