छत्तीसगढ़ के कोरबा में अब ड्यूटी से पहले राज्यगीत गाएंगे पुलिस कर्मी, SP ने कहा- प्रदेश के प्रति श्रद्धा बढ़ेगी

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कोरबा। रविवार की सुबह साढ़े 10 बजे कोरबा के सभी थानों और रिजर्व पुलिस लाइन में अलग ही नजारा था। रिजर्व पुलिस लाइन और थानों में मौजूद जवानों ने छत्तीसगढ़ के राज्यगीत ” अरपा पैरी के धार’ का गायन किया तो सभी लोग मंत्रमुग्ध हो उठे। अब काेरबा जिले की पुलिस थानों, ऑफिस में ऐसा नजारा रोज दिखेगा। पुलिस विभाग में राज्य गीत से ड्यूटी की शुरुआत करने वाला कोरबा प्रदेश का पहला जिला होगा।

कोरबा एसपी भोजराम पटेल ने शनिवार को यह आदेश जारी किया था।

कोरबा के पुलिस अधीक्षक भोजराम पटेल ने प्रतिदिन रिजर्व पुलिस लाइन और सभी थानों में सुबह गणना के समय राज्य गीत गायन के निर्देश जारी किए हैं। इस अनूठी पहल की शुरुआत रविवार से हुई। जिसमें पुलिस जवानों ने अपने ड्यूटी स्थल पर एक साथ राज्य गीत गाया।

इस मौके पर एसपी भोजराम पटेल ने कहा, छत्तीसगढ़ राज्य हमारी मां के समान है। ड्यूटी की शुरुआत में ही यदि मां की वंदना की जाए तो इससे अच्छी बात क्या होगी । छत्तीसगढ़ का राज्य गीत हमारे राज्य की अस्मिता का प्रतीक तो है ही साथ ही इसके गायन से बन्धुत्व, प्रेम और छत्तीसगढ़ राज्य के प्रति अगाध श्रद्धा का भाव आता है।

एसपी ने बताया कि कानून व्यवस्था का पालन एवं अन्य आवश्यक ड्यूटी के दौरान राज्यगीत के गायन का आदेश प्रभावी नहीं होगा।सभी सरकारी कार्यक्रमों में राज्यगीत अनिवार्य किया है

राज्य सरकार के निर्देश पर सभी सरकारी कार्यक्रमों की शुरूआत छत्तीसगढ़ के राज्यगीत से ही होती है। अब कोरबा एसपी ने प्रतिदिन ड्यूटी गणना के समय राज्यगीत गायन के निर्देश जारी किए हैं। पहले दिन कोरबा के रिजर्व पुलिस लाइन, 16 थाना, 04 चौकी और 07 सहायता केंद्र के जवानों ने अपने-अपने कार्यस्थल पर राज्यगीत का गायन किया।

2019 में राज्यगीत घोषित हुआ था नरेंद्र वर्मा का यह गीत
दिवंगत साहित्यकार नरेंद्र वर्मा का लिखा छत्तीसगढ़ महतारी का महिमा गीत “अरपा पैरी के धार’ इस अंचल में दशकों से लोकप्रिय रहा है। 2019 के राज्योत्सव में राज्य सरकार ने इसे राज्यगीत का दर्जा दिया। उसके बाद से ही सरकारी आयोजनों की शुरुआत में यह गीत बजता है। बाद में राज्यगीत के रूप में इसका मानकीकरण हुआ और पहले दो छंदों को ही राज्यगीत में शामिल किया गया है।