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EOW निरीक्षक आर के दुबे को हाईकोर्ट से झटका , सुरक्षा देने की मांग को लेकर दायर की थी याचिका |कोर्ट ने कहा जांच में करे सहयोग |

कमल दुबे [Edited By: ऋतुराज वैष्णव ]  

बिलासपुर / वरिष्ठ पुलिस अधिकारी आर के दुबे ने आज बिलासपुर हाई कोर्ट में एक याचिका लगाई जिसमे कहा गया कि बड़े अधिकारियों से संबंधित एक मामले में उन पर दबाव डाल कर बयान लिखाया गया है। साथ ही उन्होंने जान को खतरा बताते हुए अपनी और अपने परिवार की सुरक्षा की मांग की।जस्टिस गौतम भादुड़ी की बेंच में उनकी याचिका पर सुनवाई हुई। जहां सरकार की तरफ से प्रस्तुत हुए अतिरिक्त महाधिवक्ता ने किसी भी दबाव से साफ इनकार किया और उनकी दलीलें सुनने के बाद हाई कोर्ट ने आर के दुबे की याचिका निराकृत करते हुए दुबे को जांच में आगे सहयोग करने के लिये कहा। सुरक्षा की मांग पर भी कोर्ट ने कहा वे स्वयं पुलिस में है अतः इसकी आवश्यकता नहीं।

 ईओडब्ल्यू ने मुकेश गुप्ता और एसपी रजनेश सिंह के खिलाफ एफआईआर दर्ज किया है। दोनों  के खिलाफ नान मामले में गलत तरीके से जांच के साथ अवैध फोन टेपिंग सहित कई अपराध दर्ज किए गए हैं। मामले में निरीक्षक आरके दुबे पर आरोप था कि उन्होंने मुकेश गुप्ता और रजनेश सिंह के कहने पर नान मामले में बैक डेट में इंट्री किया। वहीं आरके दुबे ने कोर्ट में यह कहते हुए याचिका लगाई थी कि उनसे जबरदस्ती बयान ईओडब्ल्यू के अधिकारियों ने लिया है।

इसके अलावा नान घोटाला मामले में पूर्व मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह के प्रमुख सचिव रहे अमन सिंह पर भी एफआईआर दर्ज की गई है। इस मामले की जांच के लिए एसआईटी का गठन किया गया है। एसआईटी की जांच का जिम्मा आईपीएस दीपक झा को सौंपा गया है। ज्ञात हो कि  12  फरवरी  2015 को एंटी करप्शन ब्यूरो और आर्थिक अपराध शाखा ने प्रदेश में नागरिक आपूर्ति निगम (नान) के अधिकारियों और कर्मचारियों के 28 ठिकानों पर छापे की कार्रवाई की थी।जिसमें करोड़ों के भ्रष्टाचार से संबंधित दस्तावेज मिले थे। 

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