नई दिल्ली : कोरोना वायरस के नए वेरिएंट ओमिक्रोन तेजी से अपना पांव पसार रहा है। इससे बीते कुछ महीनों से दुनिया भर में कोरोना से मिली राहत फिर एक बार खत्म होने का डर पैदा हो गया है। द. अफ्रीका में पहली बार पाए गए ओमिक्रॉन वेरिएंट के तेजी से फैलने के चलते भारत जैसे देश में बड़ा संकट पैदा हो सकता है। कोरोना का नया वेरिएंट ओमिक्रोन ब्रिटेन, आस्ट्रेलिया, जर्मनी समेत 13 देशों में पहुंच चुका है। यह स्थिति तब है, जब ज्यादातर देश ओमिक्रॉन के खतरे को देखते हुए ट्रैवल बैन लागू कर चुके हैं।
उधर, विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) ने भी इसे लेकर चेतावनी देते हुए कहा है कि इसका रिस्क बहुत हाई है और कुछ इलाकों में यह बेहद खतरनाक साबित हो सकता है। डब्ल्यूएचओ ने चेतावनी दी है कि नया वेरिएंट दुनिया के लिए बड़ा खतरा बन सकता है। अगर इस वेरिएंट के चलते कोरोना संक्रमण तेज हुआ, तो इसके नतीजे खतरनाक होंगे।
अब तक, ज्यादातर देशों ने अफ्रीकी राष्ट्र और दूसरे कई देशों के यात्रियों के जरिए आए संक्रमण की मामलों की जानकारी दी है। फिर भी, जब Covid-19 के नए स्ट्रेन को कम करने की बात आती है, तो इस तरह संक्रमण फैलने से और ज्यादा मुश्कलें बढ़ती हैं। दक्षिण अफ्रीका- RT-PCR टेस्ट के शुरुआती सैंपल्स से पता चला है कि दक्षिण अफ्रीकी प्रांत, जिसमें जोहान्सबर्ग भी शामिल है, वहां हफ्ते भर के भीतर आए 1,100 नए मामलों में से 90% नए वेरिएटं के कारण हुए थे।
कोरोना का नया वेरिएंट ओमिक्रोन ब्रिटेन, आस्ट्रेलिया, जर्मनी, इटली, बेल्जियम, इजरायल, हांगकांग, , नीदरलैंड, डेनमार्क, बेल्जियम, चेक रिपब्लिक, पुर्तगाल और कनाडा तक पहुंच गया है।
भारत सरकार ने जारी किए संशोधित दिशा-निर्देश, 1 दिसंबर से होंगे लागू
कोरोना वायरस का नया स्वरूप ओमिक्रॉन 13 देशों में पहुंच चुका है। इस खतरे को देखते हुए केंद्र सरकार ने नए दिशा-निर्देश में कहा कि ओमिक्रॉन प्रभावित देशों से यात्रियों को भारत पहुंचते ही अनिवार्य कोरोना जांच के साथ सात दिन एकांतवास में रहना होगा।