पुणे / देश में कोरोना से मरने वालों की संख्या दिन पर दिन बढ़ती जा रही है | वही महाराष्ट्र के पुणे में कोरोना संक्रमित मरीज से जुड़ी लापरवाही का ऐसा मामला सामने आया है जो तमाम दावों-वादों की पोल खोल रहा है | यहां 40 वर्षीय एक कोरोना मरीज को पहले तो किसी अस्पताल में वेंटिलेटर वाला बेड नहीं मिला और इसके बाद घर पर ही उसकी मौत हो गई | इतना ही नहीं शव ले जाने के लिए एंबुलेंस भी नहीं मिली, जिसके चलते शव ठेले पर ले जाया गया | यह मामला पुणे शहर से लगभग 20 किलोमीटर दूर खानापुर गांव का है |
सोशल मीडिया पर वायरल हुए इस वीडियो में पीपीई किट पहने लोग गांव से ठेले पर शव को ले जाते साफ देखे जा सकते हैं | गांव वालों का कहना है कि मृतक मछली का व्यापार करता था |
सोमवार को उसकी कोरोना रिपोर्ट पॉजिटिव आई थी | फिर उसे अस्पताल ले जाया गया था | फिर अस्पताल ने उसे छुट्टी देने के लिए 40 हजार रुपये मांगे थे | फिर गांव वालों ने पैसा जमाकर बिल भरा |
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लेकिन अस्पताल के पास वेंटिलेटर बेड नहीं था | गांव के सरपंच ने जिला स्वास्थ्य विभाग पर आरोप लगाया है कि फोन करके एंबुलेंस की मांग की गई थी, लेकिन एंबुलेंस नहीं मिली | फिर शव को अंतिम संस्कार के लिए ठेले पर रखकर ले जाना पड़ा | शव को ठेले पर जाने के सवाल पर स्वास्थ्य अधिकारियों का कहना है कि ‘एक मरीज के अंतिम संस्कार के लिए उचित व्यवस्था करना ग्राम पंचायत की जिम्मेदारी है | उन्होंने कहा कि उन्हें नहीं पता था कि वह शव को ठेले पर ले गए है | इसकी जांच की जा रही है |