OMG! बुर्का पहन लड़के ने महिला शतरंज में बड़े खिलाड़ियों को दी मात, फिर खुला राज तो वजह भी बताई

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नई दिल्ली :OMG केन्या से एक दिलचस्प मामला सामने आया है. यहां एक यूनिवर्सिटी के लड़के ने बुर्का पहन खुद को महिला शतरंज खिलाड़ी बताकर नैरोबी में केन्या ओपन शतरंज चैंपियनशिप में भाग लिया. इस प्रतियोगिता में 42,000 अमेरिकी डॉलर (लगभग 34 लाख रुपए) का भारी भरकम इनाम रखा गया था. दरअसल छात्र को पैसों की सख्त जरूरत थी.

SBS न्यूज की रिपोर्ट के अनुसार चश्मा पहने 25 वर्षीय स्टेनली ओमोंडी एक शब्द भी न बोलकर प्रतियोगिता के चौथे दौर में पहुंचने में सफल रहा. ओमोंडी ने खुद को शतरंज टूर्नामेंट में मिलिसेंट अवोर के रूप में पंजीकृत कराया था. शतरंज केन्या के अध्यक्ष बर्नार्ड वंजाला ने कहा कि ‘शुरुआत में हमें कोई शक नहीं हुआ क्योंकि यहां बुर्का पहनना सामान्य है.’

ऐसे खुला राज?
बर्नार्ड वंजाला ने बीबीसी से कहा कि ‘हमें जिन चिजों से उस छात्र पर शक हुआ उनमें से एक उसके जूते भी थे. छात्र ने महिलाओं के बजाय मर्दाना जूते पहने हुए थे. हमने यह भी देखा कि वह बात नहीं कर रहा था, यहां तक कि जब वह अपना टैग लेने आया था तब भी वह बोल नहीं रहा था. आमतौर पर जब आप खेल रहे होते हैं तो आप अपने प्रतिद्वंद्वी से बात करते हैं. क्योंकि शतरंज का खेल खेलना युद्ध नहीं दोस्ती है.’

न्यूयॉर्क पोस्ट की रिपोर्ट के अनुसार हालांकि छात्र पर शक और गहरा गया जब उसने पूर्व राष्ट्रीय चैंपियन ग्लोरिया जुंबा और युगांडा के शीर्ष खिलाड़ी अम्पायरा शकीरा को हरा दिया. एक निजी कमरे में छात्र से उसके पहचान के बारे में पूछा गया. इसके बाद उसने स्वीकार करते हुए कहा कि वह एक विश्वविद्यालय का छात्र है, जिसे नकदी की जरूरत थी. नतीजतन छात्र को प्रतियोगिता से बाहर कर दिया गया है जबकि उसके सभी अंक उसके विरोधियों को दे दिए गए. नैरोबी के सरिट एक्सपो सेंटर में 6 से 10 अप्रैल तक चलने वाले इस टूर्नामेंट में 22 फेडरेशन के लगभग 450 खिलाड़ियों ने भाग लिया.

स्थानीय मीडिया आउटलेट मोजार्ट स्पोर्ट के अनुसार ओमोंडी ने कहा ‘मैं केन्या ओपन सेक्शन के महिला वर्ग में खेलते हुए पकड़ा गया, फिर भी मैं पुरुष हूं. मुझे पैसे की जरूरत थी. लेकिन मुझे अपने कार्यों पर गहरा अफसोस है और सभी परिणामों को स्वीकार करता हूं.’ शतरंज केन्या के अध्यक्ष ने कहा कि ओमोंडी को ‘कई सालों’ के प्रतिबंध का सामना करना पड़ सकता है.