आसमान में धुंआ-धुंआ: कई इलाकों में AQI अब भी 400 पार, ड्रोन से सामने आई ‘गैस चैंबर’ बनी दिल्ली की ये तस्वीर

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दिल्ली: दिल्ली में हवा की दिशा व गति बदलने से प्रदूषण का स्तर फिर बढ़ने लगा है। शनिवार को भी वायु गुणवत्ता सूचकांक (एक्यूआई) कई इलाकों में 400 के पार बना हुआ है, जोकि बेहद खराब है। स्मॉग की चादर राजधानी में छाई हुई है। जिससे लोगों को सांस लेने में दिक्कत और आंखों में जलन महसूस हो रही। सुबह स्मॉग और धुंध की वजह से दृश्यता में गिरावट दर्ज की गई।

दिल्ली के इंडिया गेट के आसपास के इलाके में धुंध की मोटी परत छाई हुई है, जबकि केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (CPCB) के अनुसार, वायु गुणवत्ता सूचकांक 414 दर्ज किया गया है। प्रगति मैदान और आईटीओ सहित आसपास के इलाकों का एक्यूआई 357 दर्ज हुआ। वहीं सुबह 6.45 बजे एम्स में भी धुंध की मोटी परत नजर आई। सराय काले खां इलाके में भी यहीं हाल है। सीपीसीबी के अनुसार, कई इलाकों में वायु गुणवत्ता सूचकांक गंभीर श्रेणी में बना हुआ है, जिसके कारण सुबह के समय दिल्ली में धुंध की मोटी परत छाई हुई है। कालिंदी कुंज में यमुना नदी में जहरीला झाग तैरते नजर आ रहे हैं। जिससे नदी में प्रदूषण का स्तर लगातार ऊंचा बना हुआ है।

स्थानीय निवासी प्रतीक जैन ने भी बातचीत के दौरान कहा कि दौड़ते समय हम अधिक थक जाते हैं, हमें बार-बार ब्रेक की जरूरत पड़ती है, खांसी होती है और गले में भी दर्द होता है। प्रदूषण के कारण हम अधिक देर तक नहीं दौड़ पाते। इंडिया गेट पर सुबह की सैर के लिए लोग आते हैं।

मौसम विभाग का अनुमान है कि प्रदूषकों के प्रभावी फैलाव के लिए मौसम संबंधी परिस्थितियां प्रतिकूल हैं। मौसम विशेषज्ञों का कहना है कि हिमालय क्षेत्र में पश्चिम विक्षोभ सक्रिय है। इससे हवा की दिशा उत्तर-पश्चिम दिशा से चलने लगी है। इससे दिल्ली से सटे पंजाब और हरियाणा के ऊपर जमा प्रदूषण दिल्ली की तरफ रुख कर गया है। इस दौरान सतह पर चलने वाली हवा की गति भी धीमी रही। इससे प्रदूषक दूर तक नहीं फैल सके।

एनसीआर में एक्यूआई
दिल्ली———396
गाजियाबाद——341
नोएडा———316
गुरुग्राम———304
फरीदाबाद——-284
ग्रेटर नोएडा——261
(नोट: आंकड़े सीपीसीबी के मुताबिक)

दिल्ली में अधिकतम एक्यूआई दर्ज
-जहांगीरपुरी——–463
-बवाना———–456
-वजीरपुर———-455
-रोहिणी———-452
-आनंद विहार——450
-अशोक विहार——440
-पंजाबी बाग——-435
-मुंडका———-430
-सोनिया विहार——-429
(नोट : आंकड़े सीपीसीबी के मुताबिक)