खबर का असर : आखिरकर बहिष्कृत हुए पीड़ित परिवार को मिला न्याय , समाज में किया गया शामिल , पीड़ितों ने न्यूज टुडे छत्तीसगढ़ को कहा –  धन्यवाद | 

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नईम खान / 

मुंगेली / न्यूज टुडे छत्तीसगढ़ की उस खबर ने पीड़ितों को न्याय दिलाया है , जिसमे उनके सामाजिक बहिष्कार के चलते उन्हें अशोभनीय दौर का सामना करना पड़ रहा था | मुंगेली के इस पीड़ित परिवार की व्यथा को पिछले अंक में जोर-शोर से उठाया गया था | इस खबर पर संज्ञान लेते हुए पुलिस और प्रशासन के अमले ने मौके पर पहुंचकर पीड़ितों का हाल चाल जाना और सामाजिक बहिष्कार करने वाले तत्वों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की चेतावनी दी | यही नहीं प्रशासन के रचनात्मक कदम के चलते सामाजिक नेताओ को अपनी जिम्मेदारी का एहसास हुआ और उन्होंने संतन और उसके परिवारिक सदस्यों को पुनः समाज की मुख्यधारा में शामिल करने की घोषणा की | इस पहल के बाद पीड़ित परिवार ने राहत की सांस लेते हुए न्यूज टुडे छत्तीसगढ़ के पत्रकारों के प्रति अपना आभार व्यक्त किया |  

दरअसल 2 साल से समाज एवं गांव से बहिष्कृत जीवन यापन करने वाले सन्तन निर्मलकर एवं उनके परिवार को खबर प्रकाशित होने के बाद ना सिर्फ न्याय मिला है , बल्कि अब वह सामान्य व्यक्ति की तरह समाज में और गांव में रहने लगा है | न्यूज़ टुडे छत्तीसगढ़ की खबर को संज्ञान में लेकर जिला प्रशासन एवं पुलिस प्रशासन के अधिकारियों ने गांव में पहुंचकर दोनों पक्ष को समझाइश दी गई | जिसके बाद से अब गांव का माहौल सामान्य है , वही 2 साल बाद मीडिया की दखल से संतन निर्मलकर समाज में शामिल हो सका है |   जिसके लिए उन्होंने न्यूज़ टुडे छत्तीसगढ़ का धन्यवाद ज्ञापित किया है..! 

पूरा मामला मुंगेली जिले के साकेत  चौकी अंतर्गत घाटोलीपारा निवासी सन्तन निर्मलकर एवं उनके परिवार को समाज के ठेकेदारों एवं गांव के दबंगों ने 2 साल पूर्व न सिर्फ समाज से बल्कि गांव से हुक्का पानी बन्द कर दिया था | इस तुग़लकी फरमान का असर गांव में इस कदर हावी था कि संतन और उसके परिवार के सदस्यों से न तो कोई बातचीत करता था,ना कोई रोजी रोटी के लिए उन्हें काम देता और न ही गांव के दुकानदारों के द्वारा उसे और उसके परिवार के सदस्यों को किराना सामग्री दिया जाता था | यही वजह है कि संतन और उसके परिवार को जरूरत के सामान व रोजी रोटी के लिए पड़ोसी गांवो पर निर्भर रहना पड़ता था | जिसके चलते दाने-दाने को मोहताज संतन एवं उनके परिवार की स्थिति काफी दयनीय हो गई थी | वहीं पुलिस एवं प्रशासन के अधिकारियों से गुहार लगाने के बाद भी उन्हें न्याय नहीं मिला |  

https://youtu.be/Aa4cJ2hqAxw

इस पूरे मामले को न्यूज़ टुडे छत्तीसगढ़ ने हाल ही में प्रमुखता से खबर प्रकाशित किया था | जिसके बाद हरकत में आए प्रशासन एवं पुलिस के अधिकारियों ने घटोलीपारा गांव का रुख किया |  जिसके बाद प्रशासन एवं पुलिस के अधिकारियों ने लगातार ग्रामीणों की बैठक लेकर इस पूरे मामले की जानकारी ली गई और उन्हें समझाईश भी दी गई | जिसके बाद समाज के लोगों एवं ग्रामीणों ने लिखित में सन्तन एवं उनके  परिवार के साथ सामान्य व्यवहार करने संबंधी पत्र प्रशासन एवं पुलिस को सौंपा है | इस पूरे मामले में मुंगेली कलेक्टर डॉ सर्वेश्वर नरेंद्र भूरे ने बताया कि प्रशासनिक अधिकारियों को गांव में भेजकर पूरे मामले की जानकारी ली गई वहीं ग्रामीणों को समझाइश देकर पीड़ित सन्तन  एवं उसके परिवार को उचित न्याय दिलाया गया , और अब वह आम आदमी की भांति गांव में जीवन यापन कर रहा है | 

वहीं एडिशनल एसपी सीडी तिर्की ने कहा है कि पीड़ित पक्ष के शिकायत के आधार पर पूरे मामले की जांच कराई गई  जिसके बाद सामने आए तथ्यों के आधार पर दोनों पक्ष को समझाइश दी गई बहरहाल स्थिति सामान्य है एवं पीड़ित परिवार सामान्य जीवन यापन कर रहा है | वहीं ग्रामीणों के द्वारा उनके साथ समान व्यवहार करने संबंधी एक पत्र भी दिया गया है | पीड़ित पक्ष ने वैधानिक कार्यवाही चाहने के पक्ष में इंकार करते हुए बहिष्कृत जीवन बहाल करने की मांग की गई | जिसके आधार पर उनके द्वारा चाही गई उचित  न्याय मुहैय्या कराई गई है | वही पीड़ित सन्तन ने गांव व समाज से बहाल होने पर नम आंखों से न्यूज़ टुडे छत्तीसगढ़ को धन्यवाद ज्ञापित किया।