उत्तर प्रदेश में बीजेपी के बाद सपा,बसपा और कांग्रेस में भी भगदड़, सुरक्षित ठिकानों की तलाश में नेता जी,सत्ता में रहे न रहे कमोवेश विधायक तो बने रहे

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‘आनन्द शिल्पी’ लखनऊ व्यूरो

लखनऊ: उत्तर प्रदेश में सियासी पारा गर्म है। नामांकन की तिथि करीब आते ही सपा बसपा और कांग्रेस में भगदड़ की स्थिति बन गई है। आए दिन कोई न कोई नेता अपनी पार्टी छोड़ दूसरी पार्टी ज्वाइन कर रहा है। कोई ऐसा दिन नहीं बीत रहा है जब बड़ी संख्या में नेता जी अपने समर्थको के साथ एक दुसरे दलों में आवाजाही कर रहे हैं। बीजेपी के लगभग दर्जन भर विधायक पार्टी छोड़ चुके हैं जबकि आधा सैकड़ा विधायकों के टिकट कटने की सम्भवना है। ज़ाहिर है बीजेपी में टिकट को लेकर घमासान मचा है।

सूत्रों के मुताबिक कमजोर प्रदर्शन वाले विधायकों को पार्टी ने टिकट काटने का संदेशा दे दिया है। नतीजतन ऐसे विधायक अपना नया ठिकाना खोज रहे हैं। उधर कांग्रेस के गिने चुने विधायको ने भी पार्टी से नाता तोड़ना शुरू कर दिया है। दो मौजूदा विधायकों के सपा में जाने की खबर है जबकि अन्य तीन विधायक तोल मोल में जुटे हैं। खुर्जा से कांग्रेस के पूर्व विधायक बंसी सिंह पहाड़िया सपा में शामिल हो गए है। बंसी सिंह पहाड़िया कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी के बेहद करीबी कहे जाते हैं। 2012 में वे खुर्जा से विधायक रहे हैं। अब समाजवादी पार्टी में भी इस्तीफे का दौर शुरू हो गया है। सपा MLC घनश्याम लोधी ने इस्तीफा दे दिया है। उन्होंने कहा है कि पिछड़ों को उचित सम्मान नहीं मिला है। उन्होंने एक चिट्ठी लिख अपना दर्द जाहिर किया है। वे लिखते हैं कि सपा द्वारा दलित समाज की उपेक्षा की गई है। घनश्याम लोधी अपने समाज पर अच्छी पकड़ रखते हैं। उन्होंने अपनी कद्दावर नेता की छवि बना रखी है।

उधर बसपा छोड़ चुके पूर्व मंत्री रामवीर उपाध्याय आगरा में भाजपा में शामिल हो रहे हैं। बसपा सरकार में रामवीर ऊर्जा मंत्री रह चुके है। बसपा ने पहले ही उन्हें पार्टी से निष्कासित कर दिया था। रामवीर उपाध्याय के भाई तथा परिवार के अन्य सदस्य पहले से ही भाजपा में हैं।

भाजपा के सहयोगी रहे अपना दल के दो विधायकों ने भी इस्तीफा दे दिया है। इस्तीफे के बाद चौधरी अमर सिंह ने कहा है कि यह सरकार झूठी है और कोई विकास नहीं किया गया है। मैं अखिलेश यादव से मिला हूं और उनकी पार्टी में शामिल होने वाला हूं। चौधरी अमर सिंह सिद्धार्थ नगर के शोहरतगढ़ सीट से समाजवादी पार्टी के टिकट पर विधानसभा चुनाव लड़ सकते हैं। चौधरी अमर सिंह के बाद अपना दल के ही विधायक आर के वर्मा को भी पार्टी ने निष्काषित कर दिया है वो लगातार सपा के सम्पर्क में है और पार्टी कार्यक्रम में हिस्सा ले रहे हैं। वह प्रतापगढ़ की विश्वनाथ गंट सीट का प्रतिनिधित्व करते हैं।