रायपुर / छत्तीसगढ़ पाठय पुस्तक निगम का करोड़ो रूपए के घोटाले का मामला सामने आया है| पुस्तक निगम ने प्रकाशक को बिना काम कराये करोड़ो रूपए का भुगतान किया गया है | पाठय पुस्तक निगम के अध्यक्ष ने इस बाबत प्रकाशन और उससे संबंधित लोगों को नोटिस जारी कर दिया है। बता दे छत्तीसगढ़ पाठय पुस्तक निगम द्वारा प्रिंटर्स को बिना काम कराए ही 8 करोड़ 20 लाख रुपये का भुगतान कर दिया गया है।
आपको बता दें कि इस भुगतान को लेकर अधिकारियों के पास कोई दस्तावेज नहीं है। नियंत्रक और महालेखा परीक्षक की रिपोर्ट के बाद प्रकाशन संस्था को भी लेटर जारी कर दिया गया है। यह घोटाला 2020 में हुआ है। राजाराम प्रिंटर्स के नाम यह राशि दी गयी है, जो की पहले से ही ब्लैट लिस्टेड है। महाप्रबंधक अशोक चतुर्वेदी के कार्यकाल में यह घोटाला हुआ है। पाठय पुस्तक निगम के अध्यक्ष शैलेष नितिन त्रिवेदी ने कहा कि एक वर्ष पूर्व हुए इस घोटाले में इस फर्जीवाड़े में कई लोग शामिल हो सकते हैं|
दरअसल राजराम प्रिंटर्स ने न कोई खरीदी हुई और न ही काम हुआ है, फिर उसे भुगतान क्यों किया गया, ये चर्चा का विषय है। शैलेश नितिन त्रिवेदी ने इस बड़े फर्जीवाड़े में पाठ्यपुस्तक निगम ने प्रकाशन से जवाब मांगा है|