सीधी बस हादसा : अब तक 50 यात्रियों की मौत, बाणसागर नहर में गिरी थी सतना जा रही बस, इसमें सवार 16 छात्र परीक्षा देने से पहले ही हार गए जिंदगी की जंग

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सीधी / मध्य प्रदेश के सीधी जिले में यात्रियों से भरी बस के बाणसागर नहर में गिरने से अब तक 50 लोगों की मौत हो चुकी है | इस हादसे में अब तक 7 लोगों सुरक्षित बचे हैं | बुधवार सुबह रेस्क्यू ऑपरेशन के दौरान नहर से दो और शव बरामद किए गए | मरने वालों में 16 यात्रियों की उम्र 25 साल या उससे कम है। बस में कुल 60 के करीब यात्री सवार थे | गोताखोरों की मदद से लापता यात्रियों की खोज की जा रही है | एसडीआरएफ और एनडीआरएफ की टीमें रेस्क्यू एंड सर्च ऑपरेशन चला रहे हैं | माना जा रहा है कि कुछ शव बह गए हैं। रेस्क्यू टीम के पहुंचने से पहले ही एक महिला, एक लड़की और उसके भाई ने सात लोगों को बचा लिया। बस का ड्राइवर खुद तैरकर बाहर आ गया, जिसे बाद में हिरासत में ले लिया गया।

इस भीषण बस दुर्घटना पर देश राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद, प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी, गृह मंत्री अमित शाह के साथ ही मध्य प्रदेश के सीएम शिवराज सिंह चौहान और नेता प्रतिपक्ष व पीसीसी चीफ कमलनाथ ने शोक व्यक्त किया है. मध्य प्रदेश सरकार ने मृतकों के परिजनों को 5-5 लाख और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पीएम नेशनल रिलीफ फंड से 2-2 लाख रुपए का मुआवजा देने की घोषणा की है.

बस नंबर MP19P 1882 जबलानाथ परिहार ट्रेवल्स की थी | यह सीधी से सतना जा रही थी | बस का मालिक कमलेश्वर सिंह नाम का शख्स बताया जा रहा है, जो हादसे के बाद से ही फरार है | इस 32 सीटर बस में 60 के करीब यात्रियों को भरा गया था | बस अपने तय समय से पहले रवाना हुई | जाम से बचने के लिए ड्राइवर ने निर्धारित रूट बदल लिया और नहर के किनारे से गुजरने वाले 7 किलोमीटर लंबे रास्ते पर बस मोड़ ली |

दरअसल, 16 फरवरी को रेलवे, एनटीपीसी और नर्सिंग का एग्जाम था. सतना और रीवा में परीक्षा केंद्र बनाए गए थे | इसके अलावा नर्सिंग की छात्राओं का भी एग्जाम सतना में था | ऐसे में बस में अधिकतर छात्र शामिल थे | बताया जा रहा है कि परीक्षा केंद्र पर समय से पहुंचने के लिए छात्रों के कहने पर ड्राइवर ने बस का रूट बदल लिया, ताकि छात्र समय से परीक्षा में शामिल हो सकें |

लेकिन रूट बदलना ही इस हादसे की वजह बना |परीक्षा देने से पहले ही इस बस में मौजूद छात्र-छात्राएं जिंदगी की जंग हार गए | बाणसागर नहर से निकाले गए 50 शवों की पहचान कर ली गई है। इसमें से ज्यादातर युवा हैं, जो रेलवे और बीएससी नर्सिंग की परीक्षा देने के लिए रीवा और सतना जा रहे थे। जिन 50 शवों की पहचान की गई है, उनमें से 16 यात्रियों की उम्र 20 से 25 साल के बीच थी। दो साल के बच्चे की भी हादसे में मौत हुई है।

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