चेन्नई / तमिलनाडु की दिवगंत मुख्यमंत्री जयललिता की करीबी और AIADMK से बर्खास्त नेता वीके शशिकला 4 साल बाद आधिकारिक रूप से जेल से रिहा हो गई हैं। भ्रष्टाचार से जुड़े मामले में उनकी सजा पूरी हो गई है। वह बेंगलुरु जेल में बंद थीं। हालांकि कोरोना वायरस से संक्रमित शशिकला का इलाज अभी जारी रहेगा। शशिकला को आय से अधिक मामले में चार साल की सजा सुनाई गई थी।बेगलुरु मेडिकल कॉलेज ने बताया, ‘शशिकला आज सुबह 11 बजे आधिकारिक रूप से रिहा हो गई हैं। वह 21 जनवरी को विक्टोरिया अस्पताल शिफ्ट की गई थीं जहां उनकी कोरोना रिपोर्ट पॉजिटिव आई थी। अगर उनमें कोरोना के लक्षण नहीं होंगे और 3 दिन तक ऑक्सिजन सपोर्ट से मुक्त होंगी तो प्रोटोकॉल के तहत वह 10वें दिन उन्हें डिस्चार्ज किया जाएगा।’
तमिलनाडु की दिवंगत मुख्यमंत्री जे जयललिता की करीबी मित्र शशिकला आय से अधिक 66 करोड़ रुपए की संपत्ति मामले में फरवरी 2017 से यहां पारापन्ना अग्रहारा के केन्द्रीय कारागार में बंद थीं। अस्पताल के बाहर शशिकला के समर्थकों की भीड़ थी और वह अपनी नेता के पक्ष में नारे लगा रहे थे। समर्थकों ने इस दौरान मिठाइयां भी बांटी।आय के ज्ञात स्त्रोतों से अधिक सम्पत्ति रखने के मामले में सजा मिलने के बाद 15 फरवरी 2017 को शशिकला को बेंगलुरु की सेंट्रल जेल भेजा गया था, इस मामले में तमिलनाडु की दिवंगत सीएम जयललिता को भी सजा हुई थी लेकिन 5 दिसम्बर 2016 को उनका निधन हो गया था।
गौरतलब है कि सितंबर 2013 में, एक विशेष अदालत ने जयललिता को चार साल के साधारण कारावास की सजा सुनाई. उन्हें 100 करोड़ रुपये का जुर्माना भरते हुए सीएम पद छोड़ना पड़ा था। उनके साथ ही तीन अन्य आरोपियों शशिकला, वीएन सुधाकरन, और इलावरासी को भी दोषी ठहराया गया था. सभी पर 10 करोड़ रुपये का जुर्माना लगाया गया था। जयललिता ने कर्नाटक हाईकोर्ट में सजा को चुनौती दी, जिसने उन्हें सभी आरोपों से बरी कर दिया लेकिन साल 2017 में, सुप्रीम कोर्ट ने इन चारों को दोषी ठहराते हुए विशेष अदालत के फैसले को बरकरार रखा था। 5 दिसंबर 2016 को उनकी मृत्यु के चलते जयललिता के खिलाफ आरोप समाप्त कर दिए गए थे।