झारखंड में भारी बारिश ने जनजीवन को पूरी तरह से अस्त-व्यस्त कर दिया है। रांची, रामगढ़, लातेहार, हजारीबाग, जमशेदपुर, बोकारो और गिरिडीह जैसे शहरों में सड़कों पर जलजमाव हो गया है। निचले इलाकों के घरों में पानी घुसने से लोगों को काफी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। नदियों और झरनों में जलस्तर बढ़ने से डूबने और घर गिरने की घटनाएं लगातार सामने आ रही हैं।
हजारीबाग जिले के बरही थाना क्षेत्र के रसोईया धमना बाराटोला गांव में रविवार देर रात एक जर्जर मकान की छत गिरने से 50 वर्षीय हबीब अंसारी और उनकी पत्नी जुमेरा खातून की मौत हो गई। हादसे का पता सोमवार सुबह चला जब ग्रामीणों ने मलबा हटाकर शव निकाले।
पलामू जिले में अमानत नदी में डूबने से तीन बच्चों की जान गई। पांकी थाना क्षेत्र के उक्सू गांव में 12 वर्षीय राकेश कुमार का शव सोमवार को बरामद किया गया, जबकि बसरिया गांव के 14 वर्षीय समीर अंसारी की तलाश अब भी जारी है। शनिवार को भी बड़काबांध में दो बच्चों की डूबकर मौत हो चुकी है।
बोकारो जिले में चंद्रपुरा के जमुनिया नदी पर बना एक नवनिर्मित पुल उद्घाटन से पहले ही बारिश की धार में बह गया। वहीं खूंटी जिले के पंचघाघ जलप्रपात का रास्ता सुरक्षा कारणों से बंद कर दिया गया है।
मौसम विभाग की रिपोर्ट के अनुसार, राज्य में अब तक सामान्य से 102% अधिक वर्षा हुई है। रांची में 265%, लातेहार में 241% और लोहरदगा में 190% अधिक बारिश दर्ज की गई है। सिर्फ देवघर, गोड्डा और पाकुड़ में सामान्य से थोड़ी कम वर्षा हुई है।
झारखंड में भारी बारिश के चलते लगातार हादसे हो रहे हैं और स्थिति गंभीर बनी हुई है। लोगों से सतर्कता बरतने की अपील की गई है।
