मनीला: दक्षिण एशियाई देश फिलीपींस ताकतवर तूफान के थपेड़ों से हिल गया। इस दौरान यहां 215 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से तूफानी हवाएं चलती दिखी। इस तूफान की वजह से स्कूल-कॉलेज सब बंद कर दिए गए है, समुद्र से नौकाओं को हटा लिया गया है और लोगों को निकालकर सुरक्षित जगह पर पहुंचाया गया है। इन तमाम सुरक्षा उपायों के बावजूद वहां भारी नुकसान की आशंका जताई जा रही है।
इस तूफान का नाम क्रैथॉन रखा गया है। मौसम विभाग के मुताबिक, कैगायन और बटानेस प्रांत के बालिंटैंग द्वीप के तटीय इलाके में 175 से 215 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से तूफानी हवाएं बहती देखी गई. क्रैथॉन तूफान धीरे-धीरे पश्चिम की ओर बढ़ रहा था और मंगलवार को ताइवान की ओर उत्तर-पूर्व की तरफ मुड़ने पर यह एक सुपर टाइफून में बदल सकता है.
मौसम एजेंसी ने अगले 48 घंटों में बटानेस के तटीय गांवों, पास के ही बाबुयान द्वीप और कैगायन प्रांत में ‘जीवन के लिए खतरा पैदा करने वाले तूफानी लहरों के मध्यम से उच्च जोखिम’ की चेतावनी दी और कहा कि भयंकर हवाएं छतों को उड़ा सकती हैं, पेड़ों को गिरा सकती हैं, खेती-बाड़ी को नुकसान पहुंचा सकती हैं और ऊंची लहरें उठा सकती हैं. इस सुपर टाइफून की वजह से भारी नुकसान का अंदेशा है.
कगायन प्रांत में तूफान की थपेड़ों से बिजली गुल हो गई और सैकड़ों ग्रामीणों को समुद्र तटीय और बाढ़-ग्रस्त इलाकों से निकालकर सुरक्षित जगहों पर पहुंचाया गया. अधिकारियों ने कहा कि एहतियात के तौर पर कई उत्तरी प्रांतों में सोमवार को सारे स्कूल-कॉलेज बंद कर दिए गए हैं. अधिकारियों ने कहा कि स्थानीय रूप से जूलियन कहे जाने वाले तूफान से प्रभावित या खतरे में पड़ने वाले उत्तरी शहरों और प्रांतों में समुद्री यात्राएं भी रोक दी गईं.
हर साल फिलीपींस में लगभग 20 तूफान आते हैं. यह द्वीपसमूह ‘पैसिफिक रिंग ऑफ फायर’ में भी स्थित है, जहां कई ज्वालामुखी विस्फोट और भूकंप आते हैं. इससे यह दक्षिण-पूर्व एशियाई देश दुनिया के सबसे ज्यादा आपदा प्रभावित देशों में से एक बन गया है.
वर्ष 2013 में दुनिया में दर्ज किए गए सबसे शक्तिशाली तूफानों में से एक टाइफून हैयान ने 7,300 से अधिक लोगों को मार डाला और लापता कर दिया था, पूरे गांवों को तहस-नहस कर दिया था। इस तूफान की वजह से मध्य फिलीपींस में 50 लाख से ज्यादा लोगों को विस्थापित होना पड़ा था।