लाहौर : Imran Khan: पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान की गिरफ्तारी के बाद से पूरा मुल्क हिंसक झड़प, विरोध प्रदर्शन, आगजनी और उपद्रव से अस्त व्यस्त है. इमरान खान की रिहाई के बाद हालात कुछ काबू में आये हैं. लेकिन पाकिस्तान में अभी भी अशांति बनी हुई. मुल्क में बेकाबू हालातों पर नियंत्रण करने के लिए तीन राज्यों में मार्शल लॉ और धारा 144 को लागू करना पड़ा है. लेकिन अब पूर्व पीएम इमरान खान की ओर से सोमवार को बड़ा दावा कर आरोप लगाया गया है कि देश के शक्तिशाली सैन्य प्रतिष्ठान ने देशद्रोह के आरोप में उन्हें अगले 10 साल तक जेल में रखने की योजना बनाई है.
सोमवार तड़के सिलसिलेवार ट्वीट में पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ के प्रमुख ने कहा कि तो अब लंदन की पूरी योजना सामने आ गई है. उन्होंने दावा कि जब मैं जेल में था, तब हिंसा के बहाने उन्होंने जज, जूरी और जल्लाद की भूमिका निभाई. अब बुशरा बेगम (खान की पत्नी) को जेल में डाल कर मुझे अपमानित करने की योजना है, और अगले दस सालों तक मुझे अंदर रखने के लिए कुछ राजद्रोह कानून का उपयोग करने की योजना है. यह ट्वीट खान के लाहौर स्थित आवास पर पीटीआई नेताओं की बैठक के बाद आया है.
पाकिस्तान के पूर्व पीएम इमरान खान (70) 100 से ज्यादा मामलों में जमानत पर हैं. उन्होंने आगे कहा कि सार्वजनिक प्रतिक्रिया नहीं हो, इसको लेकर दो चीजों पर काम किया गया था, पहला जानबूझकर पीटीआई कार्यकर्ताओं के साथ-साथ आम लोगों पर भी आतंक फैलाने का आरोप लगाया. वहीं, दूसरा मीडिया पूरी तरह से नियंत्रण और दबा हुआ है. उन्होंने गंभीर आरोप लगाते हुए कहा कि चादर और चार देवारी की पवित्रता का उल्लंघन कभी नहीं किया गया है जिस तरह से इन ‘अपराधियों’ द्वारा किया जा रहा है.
इमरान खान ने कहा कि यह सब लोगों में जानबूझकर डर पैदा करने की कोशिश है. उन्होंने यह भी कहा कि ऐसा इसलिए किया जा रहा है कि जब कल वो मुझे गिरफ्तार करने के लिए आएंगे तो लोग डर की वजह से बाहर नहीं आएंगे. कल वो फिर से इंटरनेट सर्विसेज को सस्पेंड कर देंगे और सोशल मीडिया पर प्रतिबंध लगा देंगे (जो केवल आंशिक रूप से खुला है). उन्होंने आरोप लगाया कि पुलिस बेशर्मी के साथ लोगों के घरों को तोड़ रही है और महिलाओं के साथ मारपीट कर रही है.
पाकिस्तान के लोगों को अपना संदेश देते हुए, खान ने कहा कि पाकिस्तान के लोगों के लिए मेरा संदेश; मैं अपने खून की आखिरी बूंद तक हक़ीक़ी आज़ादी के लिए लडूंगा क्योंकि मेरे लिए इन बदमाशों के गुलाम होने से मौत बेहतर है.
मैं अपने सभी लोगों से यह याद रखने का आग्रह करता हूं कि हमने ला इल्लाह हा इल्लल्लाह की प्रतिज्ञा की है, कि हम एक (अल्लाह) को छोड़कर किसी के आगे नहीं झुकते हैं. अगर हम डर की मूर्ति के आगे झुकते हैं तो हमारी आने वाली पीढ़ियों के लिए केवल अपमान और विघटन होगा. जिन देशों में अन्याय होता है और जंगल का कानून होता है, वे देश अधिक समय तक जीवित नहीं रहते हैं. बताते चलें कि इमरान खान शुक्रवार को जमानत मिलने के बावजूद फिर से गिरफ्तारी के डर से खुद को इस्लामाबाद उच्च न्यायालय (आईएचसी) परिसर में घंटों बंद रखने के बाद शनिवार को अपने लाहौर घर लौट आये थे.