न्यूज डेस्क / योग गुरु आनंद गिरि महाराज को ऑस्ट्रेलिया के सिडनी कोर्ट ने दो महिलाओं के साथ “अमर्यादित” व्यवहार के आरोपों के विवादित मामले में “बा-ईज्ज़त” बरी कर दिया है। अदालत में उन पर लगे सभी आरोप निराधार और मन गढंत पाए गए हैं। बेबुनियाद आरोप के बाद सिडनी पुलिस ने भी गलती मानते हुए कोर्ट को बताया कि स्वामी आनंद गिरि के खिलाफ दर्ज आरोप निराधार और असत्य हैं। इसके बाद सिडनी की अदालत ने स्वामी आनंद गिरि को “राहत” देते हुए उनका पासपोर्ट तत्काल रिलीज करने के निर्देश दिए है | बताया जाता है कि पासपोर्ट प्राप्त होते ही आनंद गिरी महाराज की जल्द ही “स्वदेश” वापसी होगी |
दरअसल ऑस्ट्रेलिया में विभिन्न “धार्मिक” समारोह में हिस्सा लेने पहुंचे आनंद गिरि महाराज पर “विदेशी मूल” की दो महिलाओं ने “अमर्यादित” आचरण करने का आरोप लगाया था। इनमे से एक की उम्र 29 साल जबकि दूसरी की उम्र 34 साल बताई जाती है | पीड़ितों की शिकायत पर पुलिस का आरोप था कि दो अलग-अलग घटनाओं में ऑस्ट्रेलिया मूल की दोनो महिलाओं से स्वामी आनंद गिरी ने अलग अलग तिथियों पर अमर्यादित आचरण किया था । पुलिस के मुताबिक जिन दो घटनाओं का जिक्र करते हुए महिलाओं ने उन पर आरोप लगाया है, उनमें से एक घटना तीन साल पहले व दूसरी घटना दो साल पूर्व की हैं। आरोपों के अनुसार, पहली घटना 2016 की है, जब योग गुरु नए साल के मौके पर रूटी हिल क्षेत्र स्थित अपने एक भक्त के घर में आयोजित प्रार्थना में शामिल होने गए थे। दूसरी घटना भी रूटी हिल क्षेत्र की है, जब नवंबर 2018 में यहां स्थित भारतीय मूल के ऑस्ट्रेलियाई नागरिक के घर में आनंद गिरी को प्रार्थना के लिए आमंत्रित किया गया था। 34 वर्षीय इस महिला का आरोप था कि यहां आनंद गिरी ने घर के बरामदे में अमर्यादित आचरण किया था । आरोप लगाने वाली दोनों ही महिलाएं आनंद गिरी की पूर्व परिचित बताई जाती है | ऑस्ट्रेलियन मीडिया में आई खबरों के मुताबिक, इसी वर्ष 4 मई को आनंद गिरी महाराज को सिडनी स्थित ओक्सले पार्क के वेस्टर्न सबअर्ब से गिरफ्तार किया गया था |

उधर कोर्ट का फैसला आने के बाद आनंद गिरी ने कहा कि “सत्य परेशान हो सकता है ,पराजित नहीं हो सकता”। फ़िलहाल आनंद गिरी महाराज के भक्तों को उनकी स्वदेश वापसी का इंतजार है | स्वामी आनंद गिरी प्रयागराज के बंधवा ‘हनुमान मंदिर’ के छोटे ‘महंत’ है , और ‘निरंजनी अखाड़े’ के प्रमुख पदाधिकारी भी है |
